युवा विकास

education

“आज हमे ऐसे युवाओं की आवश्यकता है, जो लोहे की मांसपेशियां और फौलाद के स्नायु रखते हों।उनमें प्रचंड इच्छा शक्ति हो जिसका अवरोध दुनिया की कोई ताकत न कर सके, जो जगत के गुप्त तथ्यों और रहस्यों को भेद सके और जिस उपाय से भी हो अपने लक्ष्य की पूर्ति करने में समर्थ हो .......”
स्वामी विवेकानंद जी

स्वामी विवेकानंद जी ने भारत की आवश्यकता को पहचानते हुए सबल युवा शक्ति का आह्वान किया था।
भारत के युवा सुदृढ, सुशिक्षित और देशभक्त बने, इन लक्ष्यों के संधान के लिए सूर्या फाउंडेशन युवाओं के समग्र विकास के लिए कई प्रकार के प्रशिक्षण कार्यक्रमो का आयोजन करता है।

भारत विश्व का सबसे युवा देश है, इसमे कोई संशय नही है कि युवा शक्ति के सही प्रयोग से भारत विश्व का सिरमौर बन सकता है। युवाओं को सही दशा-दिशा देने के उद्देश्य से सूर्या फाउंडेशन 10 दिन से लेकर 3 महीने तक के व्यक्तित्व विकास शिविरों का आयोजन करता है। इन व्यक्तित्व विकास शिविरों में मानसिक, बौद्धिक, शारीरिक और आध्यात्मिक विकास पर बल दिया जाता है।अभी तक 200000 से ज्यादा भैया और बहनों को इन शिविरों में प्रशिक्षित किया जा चुका है।

व्यक्तित्व विकास शिविर - 10 दिवसीय इन शिविरों में कक्षा 6 से लेकर कक्षा 12 तक के विद्यार्थी प्रतिभाग करते हैं। कुशल प्रशिक्षकों के नेतृत्व में यें बच्चे आत्मरक्षा का प्रशिक्षण लेते हैं, साथ ही खेल, घुड़सवारी, निशानेबाजी जैसी गतिविधियों में भी भाग लेते हैं। विशेषज्ञों के मार्गदर्शन में यें बच्चे चित्रकला, क्राफ्टिंग, सुलेख और नृत्य का प्रशिक्षण प्राप्त करते हैं। शिविर में इन विद्यार्थियों को उनके आगामी जीवन के लिए कैरियर संबंधी परामर्श दिये जाते हैं और उनके कौशल विकास पर ध्यान दिया जाता है।
युवाओं के आध्यात्मिक विकास में प्रगति हो इसके लिए ध्यान और भजन के विशेष सत्र शिविर में आयोजित किये जाते हैं। योग और प्राकृतिक चिकित्सा की गतिविधियों से विद्यार्थी स्वस्थ जीवन जीने की कला सीखतें हैं।
इन शिविरों में बच्चों को संस्कार की विभिन्न बातें सिखाई जाती हैं तथा उनमें अच्छी आदतों को विकसित किया जाता है। ताकि यें बच्चे अपने आगामी जीवन में आदर्श नागरिक के रूप में पहचाने जायें।

पूर्णकालिक प्रशिक्षण शिविर - 3 माह तक चलने वाले इस शिविर में सूर्या फाउंडेशन के पूर्णकालिक कार्यकर्ता भाग लेते हैं।
यह शिविर विभिन्न दिवसों के कई प्रकार के प्रशिक्षणों के साथ संपन्न होता है।जिसमे व्यक्तित्व विकास, प्राकृतिक चिकित्सा, प्रबंधन प्रशिक्षण, कंप्यूटर और अंग्रेजी भाषा प्रशिक्षण, शारीरिक प्रशिक्षण शिविर और फौजी प्रशिक्षण अहम हैं।

लघु व्यक्तित्व विकास शिविर - ग्रामीण परिवेश के बच्चों के लिए लघु व्यक्तित्व विकास शिविरों (Mini PDC) का आयोजन किया जाता है। वर्ष 2023 में 245 गाँवो के 10238 भैया/बहनों ने इन शिविरों में भाग लिया।
इन शिविरों में ग्रामीण प्रतिभाओं को आगे आकर प्रदर्शन करने का अवसर मिलता है। छोटे बच्चे गायन, रंगोली, नृत्य, नाट्य, भाषण और खेल आदि का प्रशिक्षण लेते हैं और अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन इन शिविरों में करते हैं।

खेल टूर्नामेंट - खेल युवा विकास की सबसे महत्वपूर्ण इकाई में से एक है। खेलों से युवाओं में नेतृत्व क्षमता बढ़ती है और टीम भावना का विकास होता है।
संस्था पिछले कई वर्षों से ग्रामीण क्षेत्रों में खेल टूर्नामेंट का आयोजन रही है। वर्ष 2022-2023 में 178 गाँवो में खेल टूर्नामेंट का आयोजन किया गया जिनमे 48601 खिलाड़ियों ने भाग लिया।

इन टूर्नामेंट में कबड्डी, क्रिकेट, वॉलीबाल, फुटबॉल, दौड़, सूर्य नमस्कार और खो-खो आदि प्रतियोगिताएं आयोजित की जाती हैं। खेलो को बढ़ावा देने और खिलाड़ियों को उचित अवसर प्रदान करने में यें टूर्नामेंट महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।

सूर्या यूथ क्लब - सूर्या यूथ क्लब के माध्यम से युवाओं में शिक्षा, स्वास्थ्य, रोजगार और सामाजिक न्याय जैसे मुद्दों पर जागरूकता का काम करते हैं। इन क्लब से गाँवो के युवाओं को जोड़ा जाता है जिससे युवाओं को सामुहिक विचार रखने का एक मंच मिलता है। यहाँ युवा सरकारी योजनाओं के बारे में जागरूक होते हैं तथा गाँवो के विकास की योजना पर काम करते हैं। गाँवो से नशे और अन्य कुरुति मिटाने के लिए सूर्या यूथ क्लब का अहम योगदान रहा है।समय समय पर गाँवो में विभिन्न खेल प्रतियोगिता का आयोजन यूथ क्लब द्वारा किया जाता है। संस्था द्वारा देश में 183 यूथ क्लब की स्थापना की गई है जिनमे 2800 की संख्या में युवा जुड़े हुए है।

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